पावन पर्व दीपावली पर संतों का अनशन सहन नहीं, जागो सरकार जागो

वैसे तो दीपावली पर घोर अंधियारी काली रात होती है क्योंकि है अमावस की रात्रि होने के कारण धरा पर अंधेरा ही अंधेरा होता है। उस अंधियारे को दूर करने के लिए चहुओर दीप प्रज्वलित कर जहां वातावरण को जगमग किया जाता है वही इस पावन त्योहार पर सबके जीवन मे भी नवीनता का उजियारा जगमगा उठता है।
किंतु इस वर्ष इस दीपावली पर जैन धर्म के पूज्य संतों द्वारा अनशन कर सरकार को चेताया जा रहा है कि आप घोर अंधियारे में जा रहे हैं और जैन तीर्थो के साथ इस तरह का व्यवहार कर आप किसी भी प्रकार का न्याय नहीं कर पा रहे हैं। घोर अंधेरे से निकलकर न्याय का उजियारा करिए सरकार और संतों को अनशन करने पर इस पावन पर्व पर मजबूर ना करिए।
हे सरकार आपकी जिम्मेदारी बनती है कि सभी के हितों का ध्यान रखते हुए न्याय पूर्ण कार्य किया जाए किंतु आप इस कार्य में कहीं ना कहीं असफल हो रहे हैं। इतने बड़े पावन पर्व पर संतो को अनशन करने पर मजबूर करना किसी भी प्रकार से उत्तम व हितकारी नहीं है। जैन समाज व्याकुल है और अपने सिद्ध क्षेत्र गिरनार जी के लिए चिंतित है एक तथा कथित ने संतों को कोर्ट में घसीटने तक की चेतावनी दे दी है उसे आप तुरंत अपनी पार्टी से बहिष्कृत कर, सही रास्ता दिखाइए और संतों को अनशन के लिए मजबूर ना करिए। जैन समाज पुरजोर तरीके से ऐसे तथाकथित का विरोध करती है और आपसे मांग करती है कि अति शीघ्र गिरनार जी को जैन धर्म के पूज्य स्थल के रूप में जैन समाज को समर्पित किया जाए। जय नेमिनाथ जय गिरनार
संजय जैन बड़जात्या कामां